मानसून सत्र के पहले ही दिन उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने अचानक पद से इस्तीफा दे दिया। जानिए इसकी पूरी वजह और पृष्ठभूमि। 

धनखड़ ने राष्ट्रपति को पत्र लिखकर कहा— "स्वास्थ्य की प्राथमिकता और चिकित्सकीय सलाह को मानते हुए मैं इस्तीफा दे रहा हूँ।"

धनखड़ ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को पत्र लिखकर इस्तीफा सौंपा और प्रधानमंत्री व मंत्रिपरिषद को सहयोग के लिए आभार व्यक्त किया।

उनसे पहले कृष्ण कांत और वी.वी. गिरि ने भी उपराष्ट्रपति पद का कार्यकाल पूरा नहीं किया था।

कृष्ण कांत ने 1997 में शपथ ली थी लेकिन 2002 में कार्यकाल के दौरान निधन हो गया।

1969 में वी.वी. गिरि ने उपराष्ट्रपति पद से इस्तीफा दिया ताकि वे राष्ट्रपति चुनाव में भाग ले सकें।

जगदीप धनखड़ ने 6 अगस्त 2022 को विपक्ष की उम्मीदवार मार्गरेट अल्वा को हराकर उपराष्ट्रपति पद संभाला।

धनखड़ को 725 में से 528 वोट मिले, जबकि मार्गरेट अल्वा को मात्र 182 वोट प्राप्त हुए।

धनखड़ ने सुप्रीम कोर्ट और हाई कोर्ट में प्रैक्टिस की। 1987 में बार एसोसिएशन के अध्यक्ष भी रहे।

झुंझुनू, राजस्थान के किसान परिवार से निकलकर सैनिक स्कूल, एनडीए चयन, वकालत और राजनीति तक का प्रेरणादायक सफर।